उत्तराखंड समाचार

अल्टीमेटम पूरा, निगम ने चलाया अतिक्रमण हटाओ अभियान

गंदगी फैलाने वाले 12 फल विक्रेताओं के चालान भी काटे गए।

रुड़की : अतिक्रमण को लेकर दिया गया अल्टीमेटम पूरा होते ही नगर निगम हरकत में आ गया है। निगम ने शनिवार शाम को अतिक्रमण हटाओ अभियान शुरू किया। हालांकि अभियान में सख्ती कम और चेतावनी ज्यादा नजर आई। इस दौरान गंदगी फैलाने वाले 12 फल विक्रेताओं के चालान भी काटे गए। कुछ छिटपुट नोकझोंक भी हुई। अतिक्रमण करने वालों को चेतावनी दी गई है कि यदि वह दोबारा अतिक्रमण करते हैं तो उनका सामान जब्त कर लिया जाएगा।

नगर निगम की ओर पिछले दो सप्ताह से मुनादी कराकर अतिक्रमण हटाए जाने की चेतावनी दी जा रही थी। इसके लिए निगम ने 15 अप्रैल तक का समय दिया था। यही नहीं 25 मार्च को नगर निगम में व्यापारी संगठनों के पदाधिकारियों ने निगम अधिकारियों को भरोसा दिलाया था कि 15 अप्रैल तक अतिक्रमण हटा लिया जाएगा। अतिक्रमण हटाने को लेकर नगर निगम की ओर से दिया गया अल्टीमेटम शनिवार को पूरा हो गया। इसके चलते सहायक नगर आयुक्त एसपी गुप्ता के नेतृत्व में दलबल के साथ अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया गया। इसमें निगम की टीम के साथ पुलिस भी शामिल रही। टीम ने पहले निगम के सामने गंगनहर पटरी के फुटपाथ पर लगी फलों की रेहड़ियों को हटवाया। इसके बाद निगम पुल से मलकपुर चुंगी के बीच अभियान चला। सहायक नगर आयुक्त एसपी सिंह ने बताया कि इस अभियान के जरिये चेतावनी दी गई है। यदि इसके बाद भी अतिक्रमण नहीं हटता है तो 18 अप्रैल से नियमित रूप से व्यापक अतिक्रमण हटाओ अभियान चलेगा। जो पक्के निर्माण होंगे, उनको जेसीबी से ध्वस्त कराया जाएगा। इसके अलावा अतिक्रमण की श्रेणी में आना वाला सामान जब्त कर लिया जाएगा। इस मौके पर नायब पीतम सिंह, जेई जगदीश अरोड़ा, सफाई निरीक्षक मंसा नेगी, कर निरीक्षक रविद्र पंवार आदि मौजूद रहे। नगर निगम पुल से मलकपुर चुंगी मार्ग पर अतिक्रमण चरम पर है। कई व्यक्तियों ने ठियों को बड़ी दुकान का रूप दे दिया है। कोई चप्पल की दुकान चला रहा है, तो किसी ने कपड़े की दुकान खोल ली है। तो कहीं कैंटीन चल रही है। कैंटीन भी ऐसी, जो कभी बंद नहीं होती। इसी तरह से कई फल विक्रेताओं ने कई-कई रेहड़ी खड़ी कर बड़ा क्षेत्र कब्जाया हुआ है। अभियान से अतिक्रमणकारियों में खलबली मच गई है।

अभियान सख्ती से चलेगा या फिर रहेगा औपचारिक: शहर में अतिक्रमण हटाओ अभियान पहली बार नहीं चला है। इससे पहले भी न जाने कितनी बार यह अभियान चल चुका है। लेकिन एक-दो बार के अभियान छोड़ दो तो हमेशा नगर निगम का यह अभियान औपचारिक ही साबित होता है, जो केवल एक-दो दिन में ही दम तोड़ जाता है। हालांकि इस बार दावा किया जा रहा है कि अभियान सख्ती से चलेगा और अतिक्रमण करने वालों पर सख्त कार्रवाई होगी।

 

 

 

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