सड़क दुर्घटनाओं बारे सतर्कता की आवश्यकता
समाजसेवियों, स्कूलों के प्रबंधकों को आगे आकर जागरूकता बढ़ाने में सहयोग करना चाहिए।
फरीदाबाद। राजकीय आदर्श वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सराय ख्वाजा फरीदाबाद में प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचन्दा की अध्यक्षता में वर्ल्ड डे ऑफ रिमेंब्रेंस फार रोड ट्रैफिक विक्टिम पर सैंट जॉन एंबुलेंस ब्रिगेड, जूनियर रेडक्रॉस और स्काउट्स गाइड्स द्वारा विद्यालय में रोड सेफ्टी विषय पर विशेष कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस कार्यक्रम में सड़क दुर्घटनाओं को लेकर सतर्कता रखने के लिए जागरूक किया गया। सैंट जॉन एंबुलेंस ब्रिगेड और जूनियर रेडक्रॉस प्रभारी प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचन्दा ने कहा कि भारत में रोड ऐक्सिडेंट में विश्व में सबसे अधिक मृत्यु होती हैं। दुर्घटनाओं की संख्या को कम करने के लिए निरंतर प्रयास किए जाने के पश्चात भी पीड़ितों की संख्या में कमी नहीं आ रही है। सड़क दुर्घटनाओं को कम करने के लिए कार्यरत विभिन्न गवर्नमेंट एवम नान गवर्नमेंट आर्गेनाइजेशन द्वारा समय समय पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं।भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने गुड सेमेरिटन कानून के माध्यम से सुरक्षा के लिए दिए गए कानून के बल के साथ राज्य सरकारों और अन्य सरकारी संगठनों ने इस बारे में सामान्य जनों को शिक्षित करने के लिए और देश को दुर्घटना मुक्त राष्ट्र के रूप में बदलने के लिए ट्रैफिक जागरूकता अभियान जैसी विभिन्न गतिविधियों को वृहद स्तर पर कार्यान्वित किया। रचनात्मक रूप से प्राथमिक चिकित्सा का गोल्डन ऑवर प्रशिक्षण के साथ जागरूकता कार्यक्रम चलाए। प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि बताया कि मद्यपान कर के वाहन न चलाएं। अपनी और दूसरों का जीवन बचाने के लिए आवश्यक है कि हेलमेट लगाएं और सीट बेल्ट का प्रयोग करें। उन्होंने कहा कि ड्राइविंग लाइसेंस बनाते समय सजग रहें। ऐसे व्यक्ति का लाइसेंस न बनाया जाए जिसे नियमों का ज्ञान ही न हो। समाजसेवियों, स्कूलों के प्रबंधकों को आगे आकर जागरूकता बढ़ाने में सहयोग करना चाहिए। गाड़ी चलाते समय मोबाइल पर बात न करने का भी परामर्श दिया। ऐसा करने से मस्तिष्क का ध्यान बंट जाता है और दुर्घटना हो जाती है। हेलमेट, सीट बेल्ट, गाड़ी की गति पर नियंत्रण रखने, यातायात चिन्हों का ध्यान रखना भी आवश्यक है। मनचंदा ने बताया कि विश्व के मात्र एक प्रतिशत वाहनों वाले देश में विश्व की दस प्रतिशत दुर्घटनाएं होना और एक लाख साठ हजार से भी अधिक मृत्यु प्रति वर्ष होना लज्जाजनक है। शिक्षण संस्थानों में भी बच्चों को यातायात नियमों के बारे में जागरूक किया आवश्यक हो गया है। प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचन्दा, आर टी ओ, ट्रैफिक पुलिस अधिकारी और विद्यालय के प्राध्यापकों प्रज्ञा, प्राध्यापिका गीता, सुशीला बेनीवाल एवम अन्य अध्यापकों ने बालिकाओं साक्षी सहित सभी का पोस्टर के माध्यम से रोड सेफ्टी पर जागरूक करने के लिए प्रेरित करने के लिए आभार व्यक्त करते हुए कहा कि सड़क दुर्घटना में दिवंगत हुए जनों को सच्ची श्रद्धांजलि यही होगी कि हम रोड सेफ्टी के रूल्स का पालन करें।