उत्तराखंड समाचार

हाई कोर्ट द्धारा कार्यवाही करने के आदेश पर शीघ्र अमल करने का सरकार से अनुरोध

पुलिया व सड़क निर्माण की टेंडर प्रक्रिया का उल्लंघन्न करते हुए अपने चहेते ठेकेदारों को लाभ पहुंचाया था।

देहरादून। भाजपा ने पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र भण्डारी की पत्नी और चमोली जिला पंचायत अध्यक्ष रजनी भण्डारी पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप में हाई कोर्ट द्धारा कार्यवाही करने के आदेश पर शीघ्र अमल करने का सरकार से अनुरोध किया है। पार्टी प्रदेश प्रवक्ता सुरेश जोशी ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जो देवभूमि की सांस्कृतिक पहचान से जुड़ी माँ नन्दा देवी राजजात यात्रा प्रबंधन जैसे धार्मिक कार्यों में भी घोटाले करने से बाज नहीं आए, वही आज विधानसभा के सामने भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन का ढोंग कर रहे हैं। भाजपा नेता सुरेश जोशी ने बयान जारी करते हुए कहा कि वरिष्ठ कॉंग्रेस नेता की पत्नी व चमोली जिला पंचायत अध्यक्ष को नैनीताल हाई कोर्ट ने भी अपने पद का दुरुपयोग कर गंभीर भ्रष्टाचार करने का दोषी पाया है। उन्होने जानकारी देते हुए बताया, “ पूर्व में सरकार द्धारा की गयी जांच में भी स्पष्ट पाया गया था कि वर्ष 2012-13 की माँ नन्दा देवी राजजात यात्रा प्रबंधन के अंतर्गत रजनी भण्डारी ने बतौर जिला पंचायत अध्यक्ष यात्रा मार्ग में पुल, पुलिया व सड़क निर्माण की टेंडर प्रक्रिया का उल्लंघन्न करते हुए अपने चहेते ठेकेदारों को लाभ पहुंचाया था। राज्य सरकार को करोड़ों के राजस्व की हानि पहुंचाने वाले इस प्रकरण में हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी वाली दो सदस्यीय  पीठ ने इसी वर्ष 19 जुलाई को सरकार को दो महीने के अंदर ज़िला पंचायत अध्यक्ष रजनी भंडारी के ख़िलाफ़ कार्यवाही के निर्देश का निर्णय दिया था। सुरेश जोशी ने जानकारी देते हुए कहा की धार्मिक आस्था और प्रदेश की पहचान से जुड़े इस महत्वपूर्ण कार्य में भी जो लोग भ्रष्टाचार करने से नहीं डरते, ऐसे लोगों पर कड़ी से कड़ी कार्यवाही करने का अनुरोध उन्होने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से किया है। उन्होने अफसोस जताते  हुए कहा कि पैर से सिर तक भ्रष्टाचार के आकंठ  में डूबे ऐसे कोंग्रेसी नेता विधानसभा के सामने धरने पर बैठे हुए। यदि गौर से इस धरने की तस्वीर को देखें तो इसमें आपको अधिकांशत सत्ता में रहते घपले घोटाले के आरोपों से गिरे हुए दागदार चेहरे दिखाई देंगे, और तो और वहाँ ऐसे भी शीर्ष नेता ईमानदारी के बड़े बड़े दावे कर रहे थे तो बतौर सीएम रहते कैमरे पर प्रदेश को लूटने का पट्टा जारी करते नज़र आए। आज जहां एक और धामी सरकार भर्ती प्रकरणों को लेकर राज्य के इतिहास की सबसे बड़ी और निर्णायक जांच को अंजाम दे रही है वहीं दूसरी और विधानसभा अध्यक्ष ने भी सीएम के अनुरोध पर विधानसभा में अब तक हुई सभी भर्तियों की जांच के आदेश दिये हैं। आज जब प्रदेश की जनता भाजपा सरकार की भ्रष्टाचार के खिलाफ इस जंग को लेकर प्रशंसा कर रही तो ऐसे में करप्शन का प्रयाय बनी कॉंग्रेस को इस विषय पर बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। उन्होने सलाह देते हुए कहा कि राज्य और केंद्र के कॉंग्रेस नेताओं को जनता में भ्रष्टाचार को लेकर भ्रम फैलाने में अपनी ताकत जाया करने के बजाय अपनी इस ताकत को हाई कोर्ट, सुप्रीम कोर्ट की अपनी अपनी पैरवी में लगाना चाहिए।

 

 

 

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