देशधर्म

दशहरा त्योहार के ऐतिहासिक आयोजन पर विकास की आड़ में रोक लगाने की कोशिश

आयोजक बोले : आयोजन स्थल पर किसी प्रकार की कोई भी हानि होती हैं, तो की जाएगी भरपाई

देहरादून,18 सितंबर। जहा भारतवर्ष में राममंदिर निर्माण का उल्लास अपने चरम पर है, वही उसी देश का एक प्रान्त उत्तराखंड जिसे देव भूमि कहा जाता हैं वहां की राजधानी में बेलगाम नौकरशाही द्वारा असत्य पर सत्य की विजय के प्रतीक दशहरा त्योहार के सैकड़ो साल पुराने ऐतिहासिक आयोजन पर बेहतरतीब विकास की आड़ में रोक लगाने की कोशिश की जा रही हैं। गौरतलब है कि देहरादून के परेड ग्राउंड में बन्नू बिरादरी देहरादून द्वारा विगत लगभग 75 वर्षो से रावण, मेघनाद, कुम्भकर्ण के पुतले दहन करके दशहरा त्यौहार बेहद हर्षोल्लास से मनाया जाता रहा है। अब जबकि वर्तमान आयोजन के लिए जिला प्रशासन द्वारा आरंभिक दौर पर स्वीकृति मिलने के बाद अब जबकि आयोजन की सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं और आयोजन स्थल की सूचना सभी प्रचार माध्यमों के द्वारा सभी वर्गों को दे दी गयी है, तो जिला प्रशासन द्वारा आयोजन स्थल पर किये गए स्मार्ट सिटी निर्माण कार्यो का हवाला देकर आयोजन की अनुमति में रोड़ा अटकाया जा रहा है। जबकि इसी स्थल पर इन्ही निर्माण कार्यो के बावजूद कई राजकीय आयोजन होते आ रहे हैं, तो इस आयोजन में क्या परेशानी है? अब जबकि आयोजनकर्ताओं द्वारा पूर्ण आश्वासन दिया जा रहा है कि अगर आयोजन से किसी प्रकार की कोई भी हानि होती हैं, तो उसकी भरपाई आयोजकों द्वारा करी जाएगी। जिसका लिखित में आश्वासन देने को भी आयोजक तैयार है। इस लिये जिला प्रशासन को अपनी हठधर्मिता त्याग कर जनभावनाओं के अनुरूप दशहरा मेले के आयोजन की अनुमति देकर अपनी भुल सुधार करनी चाहिए। साथ ही दशहरा कमेटी, बन्नु बिरादरी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी व देहरादून के प्रभारी मंत्री से मांग की कि इस विषय मे हस्तक्षेप करके जिला प्रशासन को इस धर्म कार्य के लिए सहयोग करने को निर्देशित करे।

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