अधिकारी ‘‘सेवा परमो धर्मः’’ को आत्मसात करते हुए अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें : राज्यपाल
अधिकारी अपनी सोच, विचार और धारणा इस प्रकार रखें जिससे अंतिम छोर पर बैठे व्यक्ति तक मूलभूत सुविधाएं पहुंच सकें।
नैनीताल 24 मई। राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने बुधवार को डॉ0 रघुनंदन सिंह टोलिया उत्तराखण्ड प्रशासन अकादमी, नैनीताल का भ्रमण किया। अकादमी पहुंचने पर महानिदेशक बी.पी. पाण्डेय एवं वरिष्ट संकाय अधिकारियों द्वारा राज्यपाल का स्वागत किया गया। भ्रमण के दौरान राज्यपाल ने अकादमी में आपदा प्रबंधन प्रकोष्ठ द्वारा निर्मित आर्टिफिशियल क्लाइंबिंग वॉल का लोकार्पण किया। जहां प्रशिक्षकों द्वारा एक संक्षिप्त डेमो भी किया गया। इस अवसर पर राज्यपाल ने अकादमी में सराहनीय सेवा के लिए पांच संकाय अधिकारियों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया। महानिदेशक द्वारा राज्यपाल को अकादमी की विभिन्न अवस्थापना संरचनाओं व प्रशिक्षण गतिविधियों का विस्तृत प्रस्तुतीकरण एवं जानकारी प्रदान की गई। राज्यपाल ने अकादमी में आयोजित होने वाले आधारभूत व सेवा प्रवेश प्रशिक्षण कार्यक्रमों में प्रशिक्षु अधिकारी हेतु ‘‘गवर्नर ट्रॉफी’’ की घोषणा की। यह ट्रॉफी प्रत्येक वर्ष अकादमी में आयोजित होने वाले आधारभूत व सेवा प्रवेश प्रशिक्षण कार्यक्रमों में सर्वश्रेष्ठ प्रशिक्षु को प्रदान की जायेगी। साथ ही उन्होंने अकादमी के पुस्तकालय हेतु 108 किताबें देने की घोषणा की। इस दौरान राज्यपाल ने अकादमी में आयोजित हो रहे सेवा-प्रवेश प्रशिक्षण तथा स्वच्छ भारत मिशन से संबंधित प्रशिक्षण कार्यक्रमों के प्रशिक्षु अधिकारियों एवं अकादमी के संकाय अधिकारियों को संबोधित किया। राज्यपाल ने अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि वे अपनी सोच एंव विचार के केंद्र में सेवा, समर्पण और सुशासन के त्रिशूल को धारण करें। अधिकारी अपनी सोच, विचार और धारणा इस प्रकार रखें जिससे अंतिम छोर पर बैठे व्यक्ति तक मूलभूत सुविधाएं पहुंच सकें। राज्यपाल ने कहा कि अधिकारी ‘‘सेवा परमो धर्मः’’ को आत्मसात करते हुए अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें। उन्होंने कहा कि अधिकारी एवं कर्मचारी आत्मानुशासन, आत्म नियंत्रण, और दृढ़ इच्छा शक्ति के बल पर राष्ट्र, समाज व लोगों की सेवा करने का प्रयत्न करें। उन्होंने कहा कि एक कर्मयोगी की तरह अधिकारी को अपने दायित्वों को निभाना चाहिए। राज्यपाल ने कहा कि आप सभी अधिकारी फील्ड में जाकर अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति की समस्याओं को अवश्य सुने और उन समस्याओं के समाधान का प्रयास करें। उन्होंने कहा कि टेक्नोलॉजी के युग में हमें तकनीकी का प्रभावी उपयोग कर अपने कार्यों को और अधिक बेहतर करने का प्रयास करना चाहिए। राज्यपाल ने कहा कि अकादमी पूरे देश में एक सर्वश्रेष्ठ अकादमी के रूप में अपने आप को स्थापित करने का प्रयास करे। उन्होंने कहा की अकादमी स्थानीय स्तर की चुनौतियों पर अध्ययन कर उनके समाधान खोजने का भी कार्य करे। उन्होंने कहा की अकादमी भ्रष्टाचार उन्मूलन हेतु भी समाधान खोजने पर भी मंथन एवं विचार करे। इस अवसर पर अकादमी महानिदेशक बी.पी. पाण्डेय, वरिष्ट संकाय सदस्य और प्रशिक्षु अधिकारी उपस्थित रहे।