राज्य सरकार ने किया जघन्य हत्याकाण्ड के सबूतों को नष्ट करने का काम : हरीश रावत
कांग्रेस ने दिया राजधानी दून में धरना
देहरादून। उत्तराखण्ड प्रदेश महिला कांग्रेस कमेटी की अध्यक्षा ज्योति रौतेला के नेतृत्व में अंकिता भण्डारी हत्याकाण्ड की जांच हाईकोर्ट के सिटिंग जज के देखरेख में सीबीआई से कराये जाने तथा दोषियों को फांसी की सजा दिये जाने की मांग को लेकर आज वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं ने गांधी पार्क में गांधी जी की प्रतिमा के सम्मुख धरना देते हुए हत्याकाण्ड की जांच सीबीआई से कराये जाने तथा रिसॉर्ट में आने वाले वी.आई.पी. के नाम का खुलासा करने की मांग की।
इस असवर पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि अंकिता हत्याकाण्ड मानवता के लिए शर्मसार करने वाला तथा देवभूमि उत्तराखण्ड की अस्मिता को कलंकित करने वाली घटना है जिसके लिए दोषियों को फांसी की सजा दी जानी चाहिए जो कि इस प्रकार के अपराध करने वालों के लिए एक नजीर साबित हो। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि उत्तराखण्ड राज्य में कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त हो चुकी है तथा बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा देने वाली भाजपा सरकार में महिलाओं पर अत्याचार की घटनायें लगातार बढती जा रही हैं। है। भाजपा नेता के रिजार्ट में राज्य की बेटी अंकिता भण्डारी के साथ हुई जघन्य अपराध की घटना के उपरान्त जिस प्रकार रातोंरात सबूत नष्ट करने का काम किया गया उससे स्पष्ट होता है कि भाजपा सरकार में अपराधियों को खुला संरक्षण दिया जा रहा है। जिला प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन द्वारा रिसॉर्ट पर बुल्डोजर फिराने के आदेशों से इनकार किया जा रहा है तथा भाजपा सरकार सबूत नष्ट करने के बाद अपनी पीठ थपथपा रही है। उन्होंने कहा कि इस जघन्य आपराधिक घटना में शामिल सभी लोगों के नामों का खुलासा होना चाहिए जिसके लिए कांग्रेस पार्टी इस जघन्य हत्याकाण्ड की जांच सीबीआई से कराने की मांग करती है। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि हम लोग पीडित के घर गये तथा उनके परिजनों से मिले वे बहुत गरीब लोग हैं इस घटना से उनका पूरा परिवार सदमें में है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने इस जघन्य हत्याकाण्ड के सबूतों को नष्ट करने का काम किया है। अंकिता हत्याकाण्ड जैसे जघन्य अपराध राज्य में महिला सुरक्षा के लिए गम्भीर चिन्ता का विषय हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी अंकिता को न्याय दिलाने के लिए लगातार संघर्ष कर रही है। परन्तु सरकार के कान में जॅू तक नही रेेंग रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा नेता के पुत्र का रिसॉर्ट होने के चलते राज्य सरकार द्वारा शुरूआत से ही इस जघन्य अपराध की घटना पर पर्दा डालने का काम किया गया। सरकार के दबाव में पहले राजस्व पुलिस द्वारा रिपोर्ट दर्ज करने में हीला हवाली की गई तथा इसके उपरान्त रेगुलर पुलिस द्वारा लापता हुई युवती की चार दिन तक भी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज नहीं की गई। उन्होंने कहा कि जब कभी भी ऐसी घटना होती है तो उस स्थान को सील कर दिया जाता है परन्तु रात के अंधेरे में सबूतों को नष्ट करने का काम किया गया। उन्होंने कहा कि जिस वीआईपी के नाम पर अंकिता हत्याकाण्ड को अंजाम दिया गया उसके नाम का भी खुलासा करने में सरकार के दबाव में पुलिस प्रशासन कतरा रहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी लगातार कहती आ रही है कि भाजपा शासन में प्रदेश में भय का वातावरण बना हुआ है। आज राज्य की महिलाएं अपने को असुरक्षित महसूस कर रही हैं। उन्होंने कहा पार्टी इस जघन्य हत्याकाण्ड की जांच सीबीआई से कराने की मांग करती है। महिला कांग्रेस की अध्यक्षा ज्योति रौतेला ने कहा कि उत्तराखंड की बेटी अंकिता की निर्मम हत्या हो गई। अपराधी को इतना वक्त दिया गया कि वह साक्ष्य मिटा सके, एक महत्वपूर्ण साक्ष्य बुलडोजर से तोड़कर नष्ट कर दिया गया। जहां सीसी टीवी कैमरा सहित कई साक्ष्य कोर्ट में महत्वपूर्ण हो सकते थे। अपराधियों के मोबाइल और उनके संरक्षकों के मोबाइल गायब बताए गये हैं। उन्होंने कहा अभी तक सरकार वीआईपी का नाम सार्वजनिक नही कर पाई है इससे साफ है कि सरकार की नियत ठीक नही है।उन्होंने कहा जब तक उत्तराखण्ड की बेटी अंकिता को न्याय नही मिल जाता तब तक महिला कांग्रेस सरकार के खिलाफ संघर्ष करती रहेगी। धरना कार्यक्रम में पूर्व मंत्री हीरा सिंह बिष्ट, प्रदेश उपाध्यक्ष मथुरा दत्त जोशी, अखिल भारतीय कांग्रेस के सदस्य मनीष खण्डूरी, महामंत्री नवीन जोशी, मुख्य प्रवक्ता गरिमा माहरा दसौनी, नजमा खान, महानगर अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर सिह गोगी, विरेन्द्र पोखरियाल, चन्द्रकला नेगी, उर्मिला थापा, शान्ति रावत, शिवानी मिश्रा, पुष्पा पंवार, सुनिता प्रकाश, पूूनम सिह, अनुराधा तिवाड़ी, निधि नेगी, अंशुल त्यागी,, आशा टम्टा, सत्या पोखरियाल, सविता सोनकर, पुनम कण्डारी, अनीता कोहली, शकुन्तला शर्मा, शीशपाल बिष्ट, अनिल नेगी, इमराना, मोहन काला, सुलेमान अली, इलियास अंसारी, चमोली चमोली, विरेन्द्र पंवार, गुड्डी देवी, सुमन उपस्थित थे।